कन्या गुरुकुल में रजत जयन्ती समारोह का भव्य शुभारम्भ

Shivdev Arya 1

आर्य कन्या गुरुकुल शिवगंज सिरोही के रजत जयन्ती समारोह के तीन दिवसीय कार्यक्रम का आज शुभारम्भ प्रातःकाल आध्यात्म शिविर से हुआ। इस अवसर पर गुरुकल की प्राचार्य डाॅ. सूर्यादेवी चतुर्वेदा के ब्रह्मत्व में यज्ञ सम्पन्न हुआ। यज्ञ के पश्चात् ध्वजारोहण कार्यक्रम का अयोजन हुआ जिसमें सीकर विधानसभा राजस्थान के सांसद स्वामी सुमेधानन्द,  श्रीमती परोपकारिणी सभा अजमेर के महामन्त्री मुनि सत्यजीत, दिल्ली आर्य प्रतिनिधि सभा के महामन्त्री श्री विनय आर्य आदि ने ध्वजारोहण किया।

ब्रह्मचारिणियों ने वेदपाठ के माध्यम से मंगलाचरण कर उद्घाटन सत्र का शुभारम्भ किया। उद्घाटन सत्र में सभी विद्वान् अतिथियों का स्वागत गुरुकुल की प्राचार्या डाॅ. सूर्यादेवी चतुर्वेदा व आचार्या डाॅ. धारणा याज्ञिकी ने किया। प्रथम वक्ता के रूप में दिल्ली से पधारे दिल्ली आर्य प्रतिनिधि सभा के महामन्त्री श्री विनय आर्य ने श्रेष्ठ शिक्षा व्यवस्था का आधार गुरुकुल बताया और कहा कि ये गुरुकुल कन्याओं को शिक्षित कर समाज को एक नई दिशा प्रदान कर रहा है। सीकर विधानसभा राजस्थान के सांसद स्वामी सुमेधानन्द ने अपने वक्तव्य में कहा कि मानव निर्माण में संस्कारों की बड़ी भूमिका है, और वो संस्कार गुरुकुलों के माध्यम से ही प्राप्त किये जा सकते हैं, आज समाज में ये गुरुकुल संस्कारों का बीजारोपण कर रहे हैं। तिरुपति केन्द्रिय संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. जी.एस.आर. कृष्णमूर्ति ने अपने व्याख्यान में कहा कि आज तक मैंने कहीं भी इस प्रकार का विद्यालय नहीं देखा जो शासन के बिना अर्थ के इतना बड़ा कार्य कर रहा हो। और आह्वान किया कि ये गुरुकुल यज्ञ की भूमि है, यहां सभी को सहयोग कर गुरुकुल शिक्षा पद्धति को आगे बढ़ाना चाहिए। उद्घाटन सत्र में बालिकाओं ने कविता, भजन, भाषण आदि के साथ सांस्कृतिक प्रस्तुति देकर आये श्रद्धालुओं को भावविभोर किया।

द्वितीय सत्र के रूप में वेद-सम्मेलन का आरम्भ वेद मन्त्रों के साथ किया गया, जिसमें हिसार हरियाणा से आयी कल्याणी भजनोपदेशिका ने ईश्वर भक्ति भजन प्रस्तुत किया। नजीबाबाद गुरुकुल से आयीं डाॅ. प्रियम्वदा वेदभारती ने वेदों की वैज्ञानिकता पर बल देते हुए कहा कि वेदों का संरक्षण व संवर्धन गुरुकुलों के माध्यम से ही हो रहा है। आज हम सबको गुरुकुलों को आगे बढ़ाना चाहिए। अमेठी उत्तरप्रदेश से आये डाॅ. ज्वलन्त कुमार ने अपने व्याख्यान में ऋषि दयानन्द ने ही नारियों को वेद पढ़ने का अधिकार दिलाया और यह गुरुकुल नारी शिक्षा को उन्नति के शिखर पर ले जा रहा है। इस अवसर पर गुरुकुल की ब्रह्मचारिणियों ने निरुक्त विषय पर अन्त्याक्षरी प्रस्तुत की और साथ ही गुरुकुल की बालिकाओं ने अनेक कार्यक्रम प्रस्तुत किये।

सायंकालीन सत्र में शिवगंज नगर में शोभा यात्रा का आयोजन किया गया, जिसमें देश के विभिन्न प्रान्तों से आये गणमान्यों अतिथियों, विद्वानों तथा कन्या गुरुकुल की बालिकाओं ने प्रतिभाग किया, इस अवसर पर यज्ञ की झांकियां निकाली गयीं। बालिकों ने तालवारबाजी आदि कार्यक्रमों को प्रस्तुत किया।

प्रस्तुत कार्यक्रम में आचार्य डाॅ. धनंजय, आचार्या अन्नपूर्णा, किशन गहलोत, डाॅ. सुनीति वेदरत्न, साध्वी डाॅ. उत्तमा यति, आचार्या सुनीता, आचार्य वेदकर, आचार्य वसुध देवी, डाॅ. सुनील शर्मा, डाॅ. आरती शर्मा, नीरज आर्य, डाॅ. शिवकुमार, डाॅ. सुनीता ठक्कर, अरुणा नागर, नटवर नागर, सरोजनी देवी, जगदीश विश्वकर्मा, प्रशान्त नागर, प्रज्ञा नागर, अनिल शर्मा आदि उपस्थित रहे।

One thought on “कन्या गुरुकुल में रजत जयन्ती समारोह का भव्य शुभारम्भ

  1. भव्य कार्यक्रम के लिए गुरुकुल परिवार के का हार्दिक आभार

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